बाँदा में किसान ने नई तरह की खेती की शुरुआत की

बाँदा में एक किसान युवक ने नई तरह की खेती की शुरुआत की है. इसे हाइड्रोपोनिक्स खेती कहते हैं. जिसमें बिना केमिकल और फर्टिलाइजर का उपयोग किए बिना ही. सब्जियों को आसानी से अपने घरों में उगा सकते हैं.

इसके लिए जमीन की आवश्यकता भी नहीं होती. इस खेती का अविष्कार करने वाले किसान अतुल सक्सेना ने बताया की. इस खेती में कोकोपीट या जल में केमिकल मिलाकर हाइड्रोपोनिक्स प्रगति से खेती कर सकते हैं.

इसके दो पार्ट है जिसमे एक जैविक खेती का पार्ट है. इस खेती में गौ आधारित फर्टिलाइजर होते है. जिसकी वजह से एक समय बाद ये केमिकल फ्री हो जाती है. इसमें यूरिआ और डीएपी की मात्रा बिलकुल न के बराबर होती है. साथ ही इसमें जो पेस्टीसाइड का इस्तेमाल किया जाता है वो हमारे आसपास ही मौजूद हैं जैसे की नीम की पत्ति, कनेर, धतूरा, मदार.

इनकी पत्तियों को लहसुन और मिर्चे में पीस करके रसायनिक केमिकल बनाये जाते हैं, इस खेती में लागत भी कम हो जाती है. हाइड्रोपोनिक्स खेती से हमे दोहरे फायदे होंगे पहला की यदि घर में कम जगह है तो भी सब्जी उगाई जा सकती है. और दूसरी की आपको बीमारी से भी राहत मिलेगी